P V Sindhu Biography : कठिन परिश्रम और सफलता का दूसरा नाम हैं पीवी सिंधु

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P V Sindhu Biography in Hindi –

पीवी सिंधु बैडमिंटन (P. V. Sindhu Indian Badmiton Player) की दुनिया का एक जाना-माना नाम बन चुकी हैं. पीवी सिंधु का पूरा नाम पुसरला वेंकट सिंधु (P. V. Sindhu/Pusarla Venkata Sindhu) है. सिंधु को हम देश का नाम इंटरनेशनल लेवल पर कई बार रोशन करते हुए देख ही चुके हैं. पीवी सिंधु एक भारतीय महिला बैडमिंटन खिलाड़ी (P. V. Sindhu) हैं और इसके साथ ही ओलिंपिक गेम्स में महिला एकल बैडमिंटन में रजत पदक और कांस्य पदक हासिल करने वाली भी पहली प्लेयर हैं. इसके साथ ही पीवी सिंधु दो ओलिंपिक मेडल हासिल करने वाली भारत की एक मात्र महिला खिलाड़ी भी है.

सिंधु इस ख़िताब को हासिल करने से पहले देश की नेशनल चैम्पियन (P. V. Sindhu National Champion) भी रह चुकी हैं. इसके साथ ही उनके नाम नवंबर 2016 का चीन ऑपन का खिताब भी है. उनके नाम पर कई ऐसे रिकॉर्ड हैं जो भारत की शान हैं.

आज हम पीवी सिंधु की बायोग्राफी (P. V. Sindhu Biography in Hindi) के बारे में बात कर रहे हैं. यहाँ हम आपको बताएंगे पीवी सिंधु के जन्म से लेकर, पीवी सिंधु के करियर और उनके जीवन के सभी पहलुओं के बारे में विस्तार से.

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कौन है पीवी सिंधु? Who is P. V. Sindhu?

पीवी सिंधु एक भारतीय महिला बैडमिंटन खिलाडी (P. V. Sindhu is a Indian Badminton Player) हैं. जो लगभग हर लेवल पर अपने गेम से देश का नाम रोशन कर चुकी हैं. पुरसला वेंकटा सिंधु यानि पीवी सिंधु का जन्म 5 जुलाई 1995 (P. V. Sindhu date of birth) में एक तेलुगु फैमिली में हुआ था. उनके पिता का नाम पीवी रमण और उनकी माता का नाम पी विजया है. सिंधु के माता और पिता दोनों ही वॉलीबॉल खिलाडी रहे हैं.

साल 2000 के दौरान पीवी रमण को अर्जुन अवार्ड से भी सम्मानित किया गया था. माता-पिता के प्रोफेशनल वॉलीबॉल प्लेयर रहने के बावजूद भी पीवी सिंधु ने बैडमिंटन खेल को चुना और इस दिशा में ही अपना नाम बनाने का निर्णय लिया. पीवी सिंधु को सक्सेस का पाठ ऑल इंग्लैंड ओपन बैडमिंटन चैंपियन पुल्लेला गोपीचंद से लिया था.

पीवी सिंधु की बायोग्राफी : P. V. Sindhu Biography :

पीवी सिंधु (P. V. Sindhu) ने महज 8 साल की उम्र से ही बैडमिंटन (Badminton) खेलना शुरू कर दिया था. खेल की शुरुआत से ही सिंधु ने महबूब अली से प्रशिक्षण हासिल किया. इस दौरान उन्होंने बैडमिंटन के बारे में जरुरी जानकारियां इकट्ठा की और इसके बाद सिकंदराबाद के भारतीय रेल्वे इंस्टिट्यूट में ट्रेनिंग शुरु की. 

यहाँ से ट्रेनिंग लेने के बाद पीवी सिंधु पुल्लेला गोपीचंद बैडमिंटन अकैडमी में शामिल हो गईं. वे यहाँ बैडमिंटन की प्रैक्टिस के साथ ही खेल को और भी बारीकी से सीख रही थीं. एक अख़बार से यह बात भी सामने आई कि पीवी सिंधु के घर से उनके ट्रेनिंग की जगह की दूरी 56 किलोमीटर के करीब थी.

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पीवी सिंधु ने इस दूरी की परवाह करते बिना ही अपनी ट्रेनिंग जरी रखी और समय के साथ इस ट्रेनिंग को और भी कठिन बनाया. इस कठिन परिश्रम के कारण ही आज पीवी सिंधु इस मुकाम पर पहुंची हैं और भारत का नाम रोशन कर रही हैं.

8 साल की छोटी उम्र से बैडमिंटन की ट्रेनिंग लेने वाली पीवी सिंधु के गुरु महबूब अली (Mehboob Ali) उनसे काफी प्रभावित थे. महबूब अली पीवी सिंधु की बहुत तारीफ करते थे और हमेशा यह कहते थे कि एक दिन पीवी सिंधु भारत का नाम रोशन जरुर करेंगी.

साल 2009 तक पीवी सिंधु राष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बना ही चुकी थीं. जिसके बाद इस साल के दौरान उन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी खुद के नाम के झंडे गाड़ना शुरू कर दिया था. साल 2009 में पीवी सिंधु सब जूनियर एश‍ियाई बैडमिंटन चैंपियनश‍िप में कांस्य पदक अपने नाम किया था.

कोलम्बो में हुए इस आयोजन के बाद साल 2010 के दौरान सिंधु ने ईरान फज्र इंटरनेशनल बैडमिंटन चैलेंज में एकल वर्ग में रजत पदक हासिल किया था. इस साल में ही उन्होंने जूनियर विश्व बैडमिंटन चैंपियनशिप (मेक्सिको) और थॉमस एंड यूबर कप में भी बेहतरीन प्रदर्शन किया.

पीवी सिंधु ने साल 2016 के रियो ओलंपिक में रजत पदक हासिल किया. इसके बाद साल 2021 में हुए टोक्यो ओलंपिक में भी कांस्य पदक जीतकर इतिहास रच दिया. पीवी सिंधु के अलावा भारत की ओर से सुशील कुमार ही ऐसे खिलाड़ी है, जिन्होंने दो ओलंपिक मेडल जीते है.

पीवी सिंधु के बारे में खास बातें : More about P. V. Sindhu :

1. पीवी सिंधु की पढ़ाई गुंटुर से हुई है. उनकी उम्र 25 साल है और वे हैदराबाद में गोपीचंद बैडमिंटन एकेडमी में ट्रेनिंग लेती हैं.

2. इसके साथ ही पीवी सिंधु ओलंपिक गोल्ड क्वेस्ट नामक एक नॉन-प्रोफिटटेबल संस्था का भी सपोर्ट करती है और इसे लिए काम भी करती हैं.

3. पीवी सिंधु रोजाना सुबह 4.15 बजे उठकर बैडमिंटन की प्रैक्टिस शुरू कर देती हैं और अपने खेल को लेकर काफी सजग हैं.

4. 2012 में बैडमिंटन वर्ल्ड फेडरेशन की टॉप-20 रैंकिंग में भी स्थान हासिल किया था.

5. 10 अगस्त 2013 को पीवी सिंधु, पहली भारतीय महिला भी बनीं जिन्होंने वर्ल्ड चैंपियनशिप्स में मैडल अपने नाम किया था.

6. साल 2015 के दौरान पीवी सिंधु को भारत सरकार की तरफ से पद्मश्री से सम्मानित किया गया था.

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7. इसके बाद पीवी सिंधु ने साल 2014 में FICCI ब्रेकथ्रू स्पोर्ट्स पर्सन ऑफ द ईयर और एनडीटीवी इंडियन ऑफ द ईयर 2014 का अवार्ड भी अपने नाम किया.

8. 7 जुलाई 2012 को पीवी सिंधु ने एशिया यूथ अंडर-19 चैम्पियनशिप में जीत हासिल की थी. उन्हें साल 2016 में गुवाहाटी दक्षिण एशियाई खेलों में गोल्ड मैडल भी मिला था.

9. पीवी सिंधु ने साल 2013 और साल 2014 के दौरान लगातार विश्व चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीता था.

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